सारंगढ़ बिलाईगढ़। उप पंजीयक सारंगढ़ के तत्वाधान में, रजिस्ट्री कानून के सुविधाजनक 10 नए बदलाव को आम जनता तक पहुंचाने के लिए कार्यशाला सह प्रशिक्षण का आयोजन सारंगढ़ के जिला पंचायत सभाकक्ष में किया जाएगा। इस अवसर पर सोनी अजय बंजारे, जिला पंचायत के अध्यक्ष संजय भूषण पांडेय उपाध्यक्ष अजय नायक सहित सभी सदस्य, ज्योति पटेल, जगन्नाथ केसरवानी, कैलाश नायक, जनप्रतिनिधि, बिल्डर, नोटरीगण, अधिवक्तागण, पत्रकारगण, सीईओ जिला पंचायत इंद्रजीत बर्मन सहित जिले के उपस्थित थे। सभा की शुरुआत छत्तीसगढ़ महतारी के समक्ष दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। सभा में उप पंजीयक ने रजिस्ट्री के संशोधन की जानकारी दी। इस अवसर पर जिला पंचायत अध्यक्ष और उपाध्यक्ष ने सभा को संबोधित किया।
इस अवसर पर कलेक्टर डॉ संजय कन्नौजे ने कहा कि हम लोग रजिस्ट्री करने के लिए दो गवाह को ले जाते हैं और दो गवाह होने के बावजूद भी फर्जी रजिस्ट्री हो जाता है। अब उनका आधार कार्ड भी लेकर जाते हैं और स्वतः नामांतरण हो जाता है। पहले रजिस्ट्री करते थे, फिर नामांतरण के लिए इश्तहार प्रकाशन करते थे फिर कोई दावा आपत्ति नहीं करता था तो नामांतरण होता था। नामांतरण होने के बाद पटवारी का चक्कर लगाते थे। इसमें 3 महीने का टाइम लग जाता था। यदि कोई रजिस्ट्री फर्जी होता है तो उस रजिस्ट्री को निरस्त करने का अधिकार महानिरीक्षक पंजीयक को दिया गया है। पहले फर्जी रजिस्ट्री पर याचिका सिविल कोर्ट में करते थे। सिविल कोर्ट में आदेश आते तक 5 साल 10 साल गुजर जाते थे। आवेदक इतने समय तक परेशान रहता था और उसको समय पर सुविधा नहीं मिल पाता था। इसके साथ साथ पहले रजिस्ट्री करने के लिए पहले नगद राशि लेकर आना पड़ता था अब क्रेडिट डेबिट कार्ड, पीओएस मशीन, नेट बैंकिंग, यूपीआई के गूगलपे, फोनपे आदि माध्यम से मोबाइल में ऑनलाइन भुगतान कर सकते हैं। यह सिस्टम की पारदर्शिता और सुविधा है।
छत्तीसगढ़ सरकार ने विगत 3 मई को मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने छत्तीसगढ़ वासियों के लिए रजिस्ट्री में 10 नई सुविधा का शुभारंभ किया है, जिसमें आधार आधारित प्रमाणीकरण, ऑनलाईन सर्च व डाउनलोड सुविधा, भारमुक्त प्रमाण पत्र, एकीकृत कैशलेस भुगतान, वाट्सअप नोटिफिकेशन सेवा, डिजीलॉकर सुविधा, ऑटोडीडजनरेशन, डिजीडॉक सेवा, घर बैठे रजिस्ट्री, स्वतः नामांतरण शामिल है।
पंजीयन विभाग द्वारा 10 नये परिवर्तनों के विषय में विस्तार से बताया गया तथा 10 सुधारों का वीडियो प्रस्तुतिकरण किया गया।
1- आधार आधारित प्रमाणीकरण सुविधा - पंजीयन साफ्टवेयर को आधार लिंक किया गया है, पंजीयन के समय क्रेता-विक्रेता एवं गवाहों की पहचान आधार रिकार्ड के माध्यम से की जाएगी जिससे गलत व्यक्ति को खड़े कराकर पंजीयन नही हो सकेगा। आम जनता को फर्जीवाडे का शिकार नही होना पड़ेगा।
2- ऑनलाईन सर्च एवं डाउनलोड की सुविधा - आम आदमी वर्षों की जमा पूंजी लगाकर स्वयं का घर खरीदते है, इसलिए संपत्ती खरीदने से पहले पूरी जांच पड़ताल आवश्यक है। अभी रजिस्ट्री की जानकारी के लिए पंजीयन कार्यालय में स्वयं या वकील के माध्यम से उपस्थित होकर सर्च करना पड़ता है, ऑनलाईन सर्च का प्रावधान होने से खसरा नंबर डालते ही उस खसरे के पूर्व के समस्त लेनदेन की जानकारी एक क्लिक पर प्राप्त हो सकेगी।
3- भारमुक्त प्रमाण पत्र की सुविधा - भार मुक्त प्रमाण पत्र एक बहुत ही आवश्यक प्रमाणपत्र है जो संपत्ति खरीदने के पूर्व उसकी जानकारी उपलब्ध कराता है। यह प्रमाणपत्र अब आनलाइन ही प्रदाय किया जा सकेगा।
4- एकीकृत कैशलेस भुगतान की सुविधा- पहले रजिस्ट्री कराने के लिए स्टाम्प शुल्क और पंजीयन शुल्क का अलग अलग जगह और समय पर भुगतान करना पड़ता था। अब स्टाम्प एवं पंजीयन शुल्क को एक साथ लिये जाने के लिए एकीकृत कैशलस सिस्टम तैयार किया गया है। स्टाम्प एवं पंजीयन शुल्क का एकसाथ सुविधानुसार क्रेडिट डेबिट कार्ड, पी०ओ एस मशीन, नेट बैंकिंग अथवा यू०पी०आई से फीस का भुगतान हो सकेगा।
5- व्हाट्सएप मैसेज सर्विसेज - व्हाट्सएप आज के समय में सर्वाधिक उपयोग हो रहा सोशल मीडिया प्लेटफार्म है। पंजीयन कराने वाले क्रेता-विक्रेता को अपाईन्टमेंट सहित पंजीयन होने तक सभी प्रकार के अपडेट एवं एलर्ट व्हाट्सएप में ही प्राप्त होंगे। रजिस्ट्री की प्रति भी व्हाट्सएप से ही डाउनलोड हो जायेगी। इस सुविधा के माध्यम से फीडबैक एवं शिकायतें भी व्हाट्सएप के माध्यम से की जा सकेंगी।
6- डिजीलॉकर की सुविधा - रजिस्ट्री दस्तावेजों को डिजिलॉकर में सुरक्षित स्टोर किया जाएगा, ताकि आवश्यकता पड़ने पर पक्षकार को आसानी से डिजीटल प्रमाणित दस्तावेज उपलब्ध हो जाए।
7- आटो डीड जनरेशन की सुविधा - जनता की सुविधा के लिए रजिस्ट्री को पेपर लेस बनाया गया है। ऑनलाईन दस्तावेज प्रारूप का चयन कर पक्षकार और संपत्ति विवरण दर्ज करने पर स्वतः ही दस्तावेज तैयार हो जाएगा। वही दस्तावेज पेपरलेस होकर उप पंजीयक को ऑनलाइन प्रस्तुत होगा।
8- डिजीडॉक्यूमेंट की सुविधा - कुछ दस्तावेज जिसमें स्टाम्प लगाना आवश्यक है, परन्तु पंजीयन अनिवार्य नही है जैसे कि शपथ पत्र, अनुबंध पत्र ।इनका प्रारूप ऑनलाईन डिजीडॉक्यूमेंट से तैयार कर स्टाम्प शुल्क भी डिजीटल रूप से चुकाया जा सकेगा। दस्तावेज तैयार करने और स्टाम्प के लिए अलग-अलग जगह जाने की आवश्यकता नहीं है।
9- घर बैठे रजिस्ट्री की सुविधा - जनता की सुविधा के लिए रजिस्ट्री को पेपरलेस किया गया है। दस्तावेज का प्रारूप चयन करने से ऑनलाईन दस्तावेज तैयार हो जाएगा स्टाम्प और पंजीयन फीस ऑनलाईन चुकाकर पक्षकार पंजीयन के लिए अपाइन्टमेंट लेकर घर बैठे ही आधार प्रमाणीकरण के माध्यम से पंजीयन करा सकेंगे। रजिस्ट्री पूर्ण होते ही दस्तावेज स्वतः ही ऑनलाइन प्राप्त हो जाएगा।
10- स्वतः नामांतरण की सुविधा इत्यादि - अचल संपत्ति खरीदने के लिए पंजीयन कराया जाता है। उसके बाद उसे राजस्व रिकार्ड में अद्यतन कराना पड़ता हैं, नामांतरण की इस प्रक्रिया में महीने लग जाते थे, इस बीच वही संपत्ति अन्य को बेच दिये जाने पर पीड़ित पक्षकारों को न्याय के लिए वर्षों इंतजार करना पड़ता है। अब पंजीयन के तुरंत बाद ही स्वतः नामांतरण होने से न केवल समय की बचत होगी बल्कि आम जनता को फर्जीवाडे का शिकार भी नही होना पड़ेगा।